दिनांक | तिथि | पूजा | |
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15 अक्टूबर 2023 | प्रतिपदा, कलश स्थापना | मां शैलपुत्री | |
16 अक्टूबर 2023 | द्वितीया | मां ब्रह्मचारिणी | |
17 अक्टूबर 2023 | तृतीया | मां चन्द्रघंटा | |
18 अक्टूबर 2023 | चतुर्थी | मां कूष्मांडा | |
19 अक्टूबर 2023 | पंचमी | मां स्कंदमाता | |
20 अक्टूबर 2023 | षष्ठी | मां कात्यायनी | |
21 अक्टूबर 2023 | सप्तमी | मां कालरात्रि | |
22 अक्टूबर 2023 | अष्टमी | मां सिद्धिदात्री | |
23 अक्टूबर 2023 | अष्टमी | मां महागौरी | नवरात्रि व्रतपारण |
24 अक्टूबर 2023 | विजया दशमी (दशहरा) | नहीं |
इस साल 15 अक्टूबर से 23 अक्टूबर तक शारदीय नवरात्रि मनाई जाएगी। नवरात्रि में मां दुर्गा के नौ स्वरूपों की पूजा की जाती है।
नवरात्रि हिंदू धर्म का एक प्रमुख त्योहार है, जो हर साल आश्विन महीने के
शुक्ल पक्ष में मनाया जाता है। यह नौ दिनों का उत्सव है जो देवी दुर्गा की
पूजा को समर्पित है। नवरात्रि के दौरान, भक्त मां दुर्गा के नौ अलग-अलग
रूपों की पूजा करते हैं।
नवरात्रि पूजा विधि:
नवरात्रि पूजा की विधि निम्नलिखित है:
- घटस्थापना: नवरात्रि की
शुरुआत घटस्थापना से होती है। इस दिन, घर या मंदिर में एक कलश स्थापित
किया जाता है, जिसमें पवित्र जल, चावल, गेहूं, फल, फूल, और अन्य सामग्री
होती है। कलश को सुपारी, गंध, दूर्वा, अक्षत, और सिक्के से सजाया जाता है। - नवरात्रि पूजा:
घटस्थापना के बाद, नौ दिनों तक मां दुर्गा की पूजा की जाती है। प्रत्येक
दिन, देवी दुर्गा के एक अलग रूप की पूजा की जाती है। पूजा में आरती,
मंत्रोच्चार, और प्रसाद चढ़ाना शामिल है। - नवरात्रि व्रत: नवरात्रि के दौरान, कुछ लोग व्रत रखते हैं। व्रत रखने वाले लोग मां दुर्गा की कृपा पाने के लिए नौ दिनों तक उपवास करते हैं।
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शारदीय नवरात्रि घटस्थापना मुहूर्त:
2023 में, शारदीय नवरात्रि घटस्थापना मुहूर्त 15 अक्टूबर, 2023 को सुबह 11:44 बजे से दोपहर 12:30 बजे तक है। यह मुहूर्त 46 मिनट का है।
नवरात्रि का महत्व:
नवरात्रि का त्योहार हिंदू धर्म में बहुत महत्वपूर्ण है। यह एक समय है जब भक्त मां दुर्गा की शक्ति और दया की प्रार्थना करते हैं। नवरात्रि को आध्यात्मिक जागृति, शुद्धता, और नई शुरुआत का समय माना जाता है।